भोजन की आवश्यकता
परिभाषा: भोजन वह पदार्थ है जो जीवित प्राणियों को ऊर्जा, विकास, और शरीर की मरम्मत के लिए आवश्यक है। उदाहरण: चावल खाने से ऊर्जा मिलती है।
- महत्व: भोजन शरीर को पोषक तत्व जैसे कार्बोहाइड्रेट, प्रोटीन, और विटामिन प्रदान करता है। उदाहरण: दाल प्रोटीन देती है।
- प्रकार: अनाज, फल, सब्जियाँ, दूध। उदाहरण: सेब विटामिन देता है।
भोजन के परिरक्षण की आवश्यकता
परिभाषा: भोजन को लंबे समय तक सुरक्षित और उपयोग योग्य रखने की प्रक्रिया को परिरक्षण कहते हैं। उदाहरण: अचार बनाकर आम को संरक्षित करना।
- महत्व: खराब होने से रोकता है, खाद्य सुरक्षा सुनिश्चित करता है। उदाहरण: दूध को उबालकर संरक्षित करना।
- लाभ: मौसम के बाहर भोजन उपलब्धता, आर्थिक बचत। उदाहरण: सूखे मेवे सर्दियों में उपयोगी।
भोजन का खराब होना
परिभाषा: भोजन का स्वाद, गंध, और पोषक तत्वों का नष्ट होना, जो सूक्ष्मजीवों या एंजाइमों के कारण होता है। उदाहरण: रोटी पर फफूंद लगना।
- कारण: बैक्टीरिया, कवक, नमी, ऑक्सीजन। उदाहरण: दूध में बैक्टीरिया से खट्टापन।
- लक्षण: दुर्गंध, रंग बदलना, स्वाद खराब होना। उदाहरण: सड़ा हुआ फल बदबू देता है।
रोडेन्ट, कीट-पतंगों, और बैक्टीरिया से बचाव
परिभाषा: भोजन को चूहों, कीटों, और बैक्टीरिया से सुरक्षित रखने के लिए उपाय करना। उदाहरण: अनाज को कीटों से बचाने के लिए नीम की पत्तियाँ रखना।
- रोडेन्ट: चूहे अनाज खाते हैं। उपाय: जाल, कीटनाशक। उदाहरण: चूहेदानी का उपयोग।
- कीट-पतंगे: मक्खियाँ भोजन दूषित करती हैं। उपाय: भोजन ढकना, कीटनाशक छिड़काव। उदाहरण: मच्छरदानी का उपयोग।
- बैक्टीरिया: रोग फैलाते हैं। उपाय: साफ-सफाई, उबालना। उदाहरण: पानी को उबालना।
परिरक्षण की विधियाँ
परिभाषा: भोजन को खराब होने से बचाने की तकनीकें। उदाहरण: मछली को सुखाकर संरक्षित करना।
विधि | विवरण | उदाहरण |
---|---|---|
सुखाना | नमी हटाना | सूखे मेवे |
ठंडा करना | कम तापमान पर रखना | दूध को फ्रिज में रखना |
कैनिंग | हवा बंद डिब्बों में सील करना | जैम की कैन |
पाश्चुरीकरण | गर्म करके बैक्टीरिया नष्ट करना | पाश्चुरीकृत दूध |
अचार बनाना | नमक और तेल का उपयोग | आम का अचार |
महत्व: भोजन की उपलब्धता बढ़ाता है। उदाहरण: सर्दियों में सूखी सब्जियाँ।
दूषित भोजन से होने वाले रोग
परिभाषा: दूषित भोजन खाने से होने वाली बीमारियाँ। उदाहरण: सड़ा हुआ भोजन खाने से उल्टी।
- रोग: खाद्य विषाक्तता, पेचिश, हैजा। उदाहरण: दूषित पानी से हैजा।
- लक्षण: दस्त, पेट दर्द, बुखार। उदाहरण: पेचिश में रक्तयुक्त दस्त।
- रोकथाम: भोजन ढकना, पानी उबालना। उदाहरण: साफ बर्तनों का उपयोग।
संचारी रोग
परिभाषा: वे रोग जो एक व्यक्ति से दूसरे में फैलते हैं। उदाहरण: डेंगू मच्छरों से फैलता है।
- माध्यम: संपर्क, पानी, हवा, कीट। उदाहरण: मक्खियों से पेचिश।
- रोकथाम: टीकाकरण, साफ-सफाई, मच्छरदानी। उदाहरण: मास्क से कोविड-19 रोकथाम।
असंचारी रोग
परिभाषा: वे रोग जो एक व्यक्ति से दूसरे में नहीं फैलते। उदाहरण: मधुमेह।
- कारण: आनुवंशिकी, जीवनशैली। उदाहरण: मोटापा से हृदय रोग।
- रोकथाम: स्वस्थ आहार, व्यायाम। उदाहरण: नियमित व्यायाम से मधुमेह नियंत्रण।
संक्रामक रोग और महामारी
परिभाषा: संक्रामक रोग सूक्ष्मजीवों (विषाणु, जीवाणु) से फैलते हैं; महामारी बड़े पैमाने पर फैलने वाले संक्रामक रोग हैं। उदाहरण: कोविड-19 एक महामारी थी।
- संक्रामक रोग: डेंगू, हैजा, प्लेग। उदाहरण: मच्छरों से जापानी मस्तिष्क ज्वर।
- महामारी: बड़े क्षेत्र में तेजी से फैलना। उदाहरण: 1918 का फ्लू।
- रोकथाम: टीकाकरण, साफ-सफाई, कीटनाशक। उदाहरण: मच्छरदानी से डेंगू रोकथाम।
विशिष्ट संक्रामक रोग
डेंगू (हड्डी तोड़ बुखार)
- कारक: डेंगू वायरस, एडीज इजिप्टी मच्छर।
- लक्षण: ठंड लगने के बाद तेज बुखार (5-7 दिन), सिर, मांसपेशियों, और जोड़ों में दर्द, चेहरे, गर्दन, और छाती पर गुलाबी चकत्ते।
- रोकथाम: मच्छरदानी का प्रयोग, ऐसे कपड़े पहनें जो शरीर का ज्यादा हिस्सा ढकें, घरों में पानी इकट्ठा न होने दें, खून की जाँच, तुरंत चिकित्सक से संपर्क।
- उदाहरण: डेंगू से बचने के लिए मच्छर भगाने वाली क्रीम का उपयोग।
चिकनगुनिया
- कारक: आर्बोवायरस, एडीज इजिप्टी मच्छर।
- लक्षण: ठंड लगना, बुखार, मांसपेशियों और जोड़ों में दर्द, त्वचा पर लाल दाने या चकत्ते, कमजोरी।
- रोकथाम: मच्छरदानी, शरीर ढकने वाले कपड़े, पानी इकट्ठा न होने देना, तुरंत चिकित्सक से संपर्क।
- उदाहरण: चिकनगुनिया से बचने के लिए मच्छरदानी का उपयोग।
पेचिश (डायरिया)
- कारक: एंटअमीबा हिस्टोलिटिका (प्रोटोजोआ), जीवाणु, मक्खियों या दूषित जल/भोजन के माध्यम से।
- लक्षण: बार-बार दस्त, पेट में ऐंठन, कमजोरी, तरल मल, मल के साथ रक्त स्राव।
- रोकथाम: पानी उबालकर पीना, भोजन ढकना, साफ-सफाई, कीटनाशक छिड़काव।
- उदाहरण: पेचिश से बचने के लिए उबला पानी पीना।
प्लेग
- कारक: पेस्टिस जीवाणु, पिस्सुओं और चूहों के माध्यम से।
- लक्षण: अति तीव्र ज्वर।
- रोकथाम: चूहों को समाप्त करना, तुरंत चिकित्सक से इलाज, साफ-सफाई।
- उदाहरण: प्लेग से बचने के लिए चूहेदानी का उपयोग।
हैजा
- कारक: विब्रियो कॉलेरी जीवाणु, दूषित जल/भोजन के माध्यम से।
- लक्षण: सफेद पतले दस्त, जल की कमी।
- रोकथाम: पानी उबालकर पीना, नमक-चीनी का घोल, हैजा का टीका, साफ-सफाई।
- उदाहरण: हैजा से बचने के लिए क्लोरीन युक्त पानी।
जापानी मस्तिष्क ज्वर (एक्यूट इन्सेफलाइटिस सिण्ड्रोम)
- कारक: विषाणु, मच्छरों के माध्यम से।
- लक्षण: तेज बुखार, सिर दर्द, उल्टी, चिड़चिड़ापन, झटके, शारीरिक दुर्बलता, शरीर में ऐंठन।
- रोकथाम: मच्छरदानी, कीटनाशक छिड़काव, टीकाकरण, चिकित्सक से उपचार।
- उदाहरण: मच्छर भगाने वाले रसायनों का उपयोग।
कोविड-19
- कारक: कोरोना वायरस, रोगी के प्रत्यक्ष/अप्रत्यक्ष संपर्क से।
- लक्षण: बुखार, सूखी खांसी, छींक, थकान, साँस लेने में तकलीफ, गंध न महसूस होना।
- रोकथाम: मास्क, शारीरिक दूरी, साबुन/सेनिटाइजर से हाथ धोना, चिकित्सक से उपचार।
- उदाहरण: कोविड-19 से बचने के लिए मास्क पहनना।